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अर्जुन की छाल का पानी पीने के 6 फायदे, इन बीमारियों से मिलेगा छुटकारा

अर्जुन


Bark of Arjuna: आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में हर कोई बीपी, शुगर आदि बीमारियों से ग्रसित है।

 जिसके लिए हम डॉक्टर की सलाह लेते हैं,दवाइया खाते हैं। 

लेकिन आज हम एक ऐसी देशी दवाई के बारे में बताते हैं जिसके उपयोग से इन बीमारियों से पीछा छूट सकता है।

 आपको बता दें की अर्जुन के पेड़ का आयुर्वेद में मुख्य रूप से उपयोग काढ़े के रूप में किया जाता है इसका मुख्य कारण यह है कि अर्जुन की छाल के पानी में एंटीऑक्सीडेंट मौजूद होता है, जिसकी वजह से यह काफी स्वास्थ्य लाभों को प्रदान करता है। 

यह इंफेक्शन, संक्रमण, गले की खराश, सर्दी-जुकाम जैसी परेशानियों को दूर करने में भी काफी मददगार होता है। 

इसके अलावा अर्जुन की छाल से स्वास्थ्य को कई प्रकार के बड़े फायदे मिलते है। 


 डायबिटीज को नियंत्रण में करने में सहायक

अर्जुन की छाल का उपयोग डायबिटीज को कंट्रोल करने में काफी मददगार सिद्ध होता है क्योकि इसमें   कुछ विशेष प्रकार के एंजाइम्स पाए जाते हैं जिस वजह से अर्जुन की छाल एंटीडायबिटिक गुण मौजूद होते है।

 अर्जुन छाल का यह गुण किडनी और लिवर की कार्यक्षमता को बढ़ाकर ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद करता है।

 इस आधार पर डायबिटीज नियंत्रण के मामले में अर्जुन की छाल को सहायक माना जा सकता है।


 हृदय रोग के लिए फायदेमंद

अर्जुन की छाल  हृदय रोगों  को नियंत्रित करने और हृदय की कार्यप्रणाली को ठीक से सुधारने में लाभकारी साबित हो सकती है।

 चूहों पर आधारित एनसीबीआई के एक प्रयोग में इस बात का जिक्र मिलता है कि अर्जुन की छाल में ट्राइटरपेनॉइड नाम का एक खास रसायन पाया जाता है। 

इस खास रसायन  के कारण ही अर्जुन छाल हृदय रोग से जुड़े जोखिमों को दूर करने में कारगर साबित हो सकती है।

सर्दी-खांसी में राहत 

सर्दी-खांसी की समस्या से  राहत पाने के लिए भी अर्जुन की छाल का उपयोग किया जाता है। 

अर्जुन की छाल का पानी कंजेशन से राहत देने और स्वस्थ फेफड़ों के कार्य को बढ़ावा देने में मदद करता है।


 श्वसन संबधी रोग

अर्जुन की छाल के पानी को पारंपरिक रूप से श्वसन संबंधी रोग से बचाव के लिए काफी उपयोगी माना जाता है।

 ऐसा माना जाता है कि यह अस्थमा एवं अन्य श्वसन रोगों के लक्षणों को कम करने में सहायक है।

 हाई बीपी में सहायक

अर्जुन की छाल में ट्राइटरपेनॉइड नाम का खास रसायन मौजूद होता है जिस वजह से यह हृदयके लिए रोगों को नियंत्रित करने में तो उपयोगी है ही इसके साथ ही इसमें पाया जाने वाला एंटीहाइपरटेंसिव गुण , बढ़े हुए ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में काफी मददगार साबित होता है।


पाचन शक्ति को बढ़ाती है 

अर्जुन की छाल का पानी पीने से पाचन तंत्र पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

 यह हल्के कब्ज से राहत दिलाने में मदद करता है।

 इसके अलावा यह पाचन में सुधार और गैस्ट्रिक अल्सर और एसिडिटी के लक्षणों को कम करने में सहायता भी करता है।


 

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