logo

जाने क्यों इन व्यक्तियो को कभी नहीं मिलती मोक्ष कि प्राप्ति ,पृथ्वी पर बार-बार लेना पड़ता है जन्म

moksh

आचार्य चाणक्य की नीति: मोक्ष की प्राप्ति में बाधाएं

आचार्य चाणक्य ने जीवन के महत्वपूर्ण पहलुओं को समझाने के लिए कई नीतियों का उल्लेख किया है। उनके अनुसार, कुछ विशेष अवगुण ऐसे हैं, जो व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति से वंचित रखते हैं। आइए जानते हैं उन अवगुणों के बारे में:

1. अधर्मिता:
   - जो व्यक्ति अपने जीवन में अधर्मी बना रहता है, वह भगवान के निकट नहीं पहुँच पाता। ऐसे व्यक्ति को बार-बार जन्म लेना पड़ता है और मोक्ष नहीं मिल पाता।

2. अनाज का अनादर:
   - आचार्य चाणक्य के अनुसार, अनाज का महत्व जीवन में बहुत अधिक है। जो लोग अनाज का अपमान करते हैं या उसकी कदर नहीं करते, उन्हें भी मोक्ष की प्राप्ति नहीं होती।

3. बुरी संगति:
   - जो व्यक्ति बुरी संगत में समय बिताते हैं और अपने मूल्यवान जीवन को व्यर्थ करते हैं, वे भी मोक्ष से वंचित रहते हैं। अच्छे संगति का होना जरूरी है।

4. जानवरों के प्रति दया की कमी:
   - आचार्य का मानना है कि यदि कोई व्यक्ति जानवरों के प्रति दया नहीं रखता, तो उसे भी मोक्ष प्राप्त नहीं होता। दया एक महत्वपूर्ण गुण है।

5. माता-पिता का अनादर:
   - माता-पिता का अनादर करने वाले लोग भी मोक्ष की प्राप्ति से वंचित रहते हैं। माता-पिता के प्रति सम्मान और कृतज्ञता होना आवश्यक है।

आचार्य चाणक्य की नीतियाँ आज के समाज में भी अत्यंत प्रासंगिक हैं। यदि व्यक्ति इन अवगुणों से बचता है और एक नैतिक जीवन जीता है, तो वह न केवल मोक्ष की ओर अग्रसर हो सकता है, बल्कि अपने जीवन को भी सार्थक बना सकता है।

WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now